न्यायमूर्ति प्रशांत कुमार मिश्रा

29 अगस्त 1964 को रायगढ़ (छत्तीसगढ़) में जन्म। गुरु घासीदास विश्वविद्यालय, बिलासपुर (छत्तीसगढ़) से बी.एस.सी. और एल.एल.बी. उपाधि प्राप्त की। 4 सितंबर, 1987 को एक अधिवक्ता के रूप में नामांकित। रायगढ़ में जिला न्यायालय, जबलपुर में मध्य प्रदेश उच्च न्यायालय और बिलासपुर में छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय में विधि का अभ्यास किया और विधि की सिविल, आपराधिक और रिट शाखाओं में कार्यवाही की। जनवरी, 2005 में छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय द्वारा वरिष्ठ अधिवक्ता के रूप में नामित किया गया। छत्तीसगढ़ राज्य बार काउंसिल के अध्यक्ष रहे। छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय की नियम निर्माण समिति के सदस्य नियुक्त/सहयोजित किये गये। गुरु घासीदास विश्वविद्यालय, बिलासपुर की कार्यकारी परिषद में कुलाधिपति द्वारा नामित सदस्य रहे। हिदायतुल्लाह राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालय, रायपुर (छत्तीसगढ़) की कार्यकारी परिषद में पदेन सदस्य के रूप में जुड़े। 26 जून 2004 से 31 अगस्त 2007 तक छत्तीसगढ़ राज्य के अतिरिक्त महाधिवक्ता के रूप में कार्य किया और उसके बाद 1 सितंबर 2007 से पदोन्नति तक राज्य महाधिवक्ता के रूप में कार्य किया। 10 दिसंबर 2009 को छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के रूप में पदोन्नत हुए। 01.6.2021 से 11.10.2021 तक छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय के कार्यवाहक मुख्य न्यायमूर्ति थे। आंध्र प्रदेश के उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायमूर्ति के रूप में नियुक्त किया गया और 13.10.2021 को पदभार ग्रहण किया।
19 मई, 2023 को भारत के सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश के रूप में पदोन्नत किया गया।